November 22, 2024

Chatur Post

केवल सरोकार की खबर

DA Strike: शिक्षक संघर्ष मोर्चा ने कहा..तो हम नहीं हो पाएंगे हड़ताल में शामिल…

1 min read

DA Strike: रायपुर। महंगाई भत्‍ता (डीए) की मांग को लेकर आंदोलन की तैयारी में जुटे कर्मचारी संगठनों को शिक्षकों ने झटका दे दिया है। शिक्षकों के संयुक्‍त संगठन ने एक पत्र जारी किया है। इसमें संयुक्‍त मोर्चा और फेडरेशन से एक ही तारीख पर हड़ताल करने की अपील की गई है। शिक्षक संगठनों ने अपनी इस बात के पक्ष में कई तर्क भी दिए हैं।

शिक्षक संयुक्‍त मोर्चा के प्रांतीय संचालकों की तरफ से जारी इस पत्र में कहा गया है कि लंबित मंहगाई भत्ता की मांग को लेकर कर्मचारी अधिकारी मोर्चा द्वारा 9 सितंबर को एक दिवसीय हड़ताल की घोषणा की गई है तथा कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन द्वारा 11 व 27 सितंबर को एक दिवसीय हड़ताल की घोषणा की गई है।

छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा द्वारा दोनों ग्रुप कमल वर्मा व अनिल शुक्ला से अपील किया जाता है कि वे प्रदेश भर के कर्मचारियों के हितों को ध्यान में रखकर व सरकार पर वास्तविक दबाव बनाया जा सके इसलिए दोनों ग्रुप से निवेदन है कि 6-7 सितंबर तक बैठक आयोजित कर पूर्व से घोषित तिथि 9 सितंबर तथा 11 व 27 सितंबर के अलावा अलग तिथि तय कर दोनों ग्रुप एक साथ मिलकर हड़ताल घोषित करें, पूर्व में भी यह देखा गया है कि अलग अलग हड़ताल से अपेक्षित लाभ नही मिला।

DA Strike जानिए..क्‍यों नहीं चाहते अलग-अलग हड़ताल

अलग अलग तिथि में हड़ताल घोषित करने से छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा (शिक्षकों का सबसे बड़ा समूह) अलग अलग तिथि के हड़ताल में शामिल नहीं हो पाएगा। बल्कि एलबी संवर्ग के शिक्षकों के मूल मांग पूर्व सेवा की गणना कर प्रथम नियुक्ति तिथि से सही वेतन का निर्धारण कर, सहायक शिक्षकों की वेतन विसंगति दूर कर / क्रमोन्नत वेतनमान का निर्धारण कर, पुरानी पेंशन निर्धारित करें एवं कुल 20 वर्ष की पूर्ण सेवा में पुरानी पेंशन प्रदान किया जावे के साथ मंहगाई भत्ता की मांग को लेकर और शिक्षक समूह को साथ लेते हुए पृथक से हड़ताल की तिथि घोषित करेगा।जानिए..क्‍या है संयुक्‍त मोर्चा और फेडरेशन संयुक्‍त मोर्चा और फेडरेशन कर्मचारी संगठनों का संयुक्‍त संगठन है।

फेडरेशन में करीब सौ से ज्‍यादा कर्मचारी संगठन शामिल हैं। इसे प्रदेश का सबसे बड़ा संयुक्‍त संगठन माना जाता है। दोनों संगठनों की तरफ से हड़ताल के लिए अलग-अलग तारीखों की घोषणा की गई है। इन दोनों संगठनों के घटक दलों में शिक्षकों के कई संगठन शामिल हैं।

ऐसे में अलग-अलग तारीखों पर हड़ताल किए जाने की स्थिति में आधे संगठनों के लोग काम करेंगे, जबकि आधे के हड्ताल पर रहेंगे। शिक्षक नेताओं का कहना है कि इससे हड़ताल का असर नहीं होगा। इससे सरकार पर दबाव भी नहीं बन पाएगा। इसी वजह से वे चाहते हैं कि दोनों संगठन एक राय होकर एक तारीख पर हड़ताल की घोषणा करें।

Copyright © All rights reserved. | Developed & Hosted By: Simpli Life .