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CBI  छत्‍तीसगढ़ सरकार ने इस अफसर के खिलाफ जांच के लिए CBI को जारी की अनुमति, देखिए नोटिफिकेशन

CBI  रायपुर। छत्‍तीसगढ़ सरकार ने भ्रष्‍टाचार से जुड़े एक मामले की जांच के लिए केंद्रीय जांच ब्‍यूरो (सीबीआई) को नई अनुमति जारी की है। इस संबंध में गृह विभाग ने नोटिफिकेशन जारी किया है। यह मामला राज्‍य के चर्चित शराब घोटाला से जुड़ा है।

छत्‍तीसगढ़ में पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के दौरान हुए कथित शराब घोटाला में शामिल रहे एक केंद्रीय अफसर के खिलाफ सीबीआई भी जांच करेगी। राज्‍य सरकार ने जांच के लिए सीबीआई को  अनुमति जारी कर दी है।

जानिए.. किस अफसर के खिलाफ जांच के लिए सीबीआई को दी गई है अनुमति

छत्‍तीसगढ़ सरकार ने शराब घोटाला में आरोपी बनाए गए अरुण पति त्रिपाठी के खिलाफ सीबीआई को जांच की अनुमति जारी की है। बता दें कि त्रिपाठी केंद्र सरकार की भारतीय दूर संचार सेवा के अफसर हैं। शराब घोटाला के दौरान त्रिपाठी छत्‍तीसगढ़ में प्रतिनियुक्ति पर थे। यहां आबकारी विभाग में वे पदस्‍थ थे। इसी दौरान शराब घोटाला हुआ।

CBI  अभी जेल में हैं त्रिपाठी

बता दें कि त्रिपाठी अभी जेल में हैं। अफसरों के अनुसार चूंकि त्रिपाठी केंद्रीय सेवा के अफसर हैं, ऐसे में उनकी अनुपातहिन संपत्ति की जांच राज्‍य सरकार की एजेंसी नहीं कर सकती। इस वजह से जांच का काम सीबीआई को सौंपा गया है। शराब घोटाला की जांच सबसे पहले केंद्रीय प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शुरू की थी। राज्‍य में सत्‍ता परिवर्तन के बाद ईडी के पत्र के आधार पर एसीबी- ईओडब्‍ल्‍यू ने इसकी जांच शुरू की। अब इसमें सीबीआई भी इंट्री हो गई है।

CBI  पूर्व मंत्री व अफसर जेल में

शराब घोटाला के आरोप में पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा, सेवा निवृत्‍त आईएएस अनिल टुटेजा और त्रिपाठी के साथ कई अफसर इस वक्‍त जेल में हैं। लखमा को पहले ईडी ने गिरफ्तार किया था, लेकिन अब ईओडब्‍ल्‍यू लखमा को रिमांड पर लेकर पूछताछ कर रही है।  ईडी की रिपोर्ट के अनुसार शराब घोटाला में अनवर ढेबर, टुटेजा और त्रिपाठी की भूमिका अहम थी। ईडी इन्‍हें सूत्रधार मान रही है।

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