CG Industrial Policy 2024-30: रायपुर। औद्योगिक नीति 2024-30 की अवधि में राज्य के समूह 1 के पात्र विकासखंडों, समूह-2 और समूह-3 के विकासखंडों में स्थापित होने वाली स्टील सेक्टर के पात्र नए वृहद उद्योगों की स्थापना और मौजूदा उद्योगों के विस्तार / शवलीकरण / प्रतिस्थापन / आधुनिकीकरण के प्रकरणों में निवेशक इकाईयों को उनके द्वारा परियोजना में किए गए स्थायी पूंजी निवेश का अधिकतम 100 प्रतिशत (अन्यथा प्रावधानित होने पर यह सीमा तदानुसार होगी) तक निम्नलिखित अनुसार औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन प्रदान किया जाएगा।
(1) नेट राज्य वस्तु एवं सेवा कर (नेट एसजीएसटी) प्रतिपूर्ति –
क्र. विकासखण्डों की श्रेणी प्रतिपूर्ति का विवरण
समूह-1 (विकासखंड बिल्हा एवं धरसीच को छोड़कर) वाणिज्यिक उत्पादन / कार्य प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष तक भुगतान किए गये नेट राज्य वस्तु एवं सेवा कर (नेट एसजीएसटी) की प्रतिपूर्ति, अधिकतम स्थायी पूंजी निवेश के 80 प्रतिशत तक
समूह-2 वाणिज्यिक उत्पादन/कार्य प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष तक भुगतान किए गये नेट राज्य वस्तु एवं सेवा कर (नेट एसजीएसटी) की प्रतिपूर्ति, अधिकतम स्थायी पूंजी निवेश के 90 प्रतिशत तक
समूह-3 वाणिज्यिक उत्पादन/कार्य प्रारंभ करने के दिनांक से 15 वर्ष तक भुगतान किए गये नेट राज्य वस्तु एवं सेवा कर (नेट एसजीएसटी) की प्रतिपूर्ति, अधिकतम स्थायी पूंजी निवेश के 100 प्रतिशत तक
राज्य में कोर सेक्टर के केवल नवीन उद्योगों को निम्नलिखित विवरण अनुसार विद्युत शुल्क छूट दी जाएगी :-
क्र. विकासखण्डों की श्रेणी विवरण
समूह-1 (विकासखंड बिल्हा एवं धरसींवा को छोड़कर) वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष ।
समूह-2 वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष ।
समूह-3 वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 15 वर्ष ।
इस पैकेज के अंर्तगत राज्य में कोर सेक्टर के नए उद्योगों की स्थापना और मौजूदा उद्योगों के विस्तार/शवलीकरण / प्रतिस्थापन / आधुनिकीकरण के प्रकरणों में भूमि, शेड तथा भवनों के क्रय/पट्टे पर लिए जाने के मामले में निष्पादित किए जाने विलेखों पर संबंधित भूमि लीज के विलेखों पर स्टाम्प शुल्क से पूर्ण छूट प्रदान किया जाएगा।
कोर सेक्टर के पात्र नवीन तथा मौजूदा उद्योगों के विस्तार / शवलीकरण / प्रतिस्थापन / आधुनिकीकरण के उद्योगों को भूमि पर देय पंजीयन शुल्क में 50 प्रतिशत की प्रतिपूर्ति प्रदान किया जाएगा।
स्टील सेक्टर के वृहद उद्योग के लिए विद्युत शुल्क में छूट भू उपयोग में परिवर्तन शुल्क में छूट
कोर सेक्टर के पात्र नवीन उद्योगों तथा मौजूदा उद्योगों के विस्तार/शवलीकरण / प्रतिस्थापन / आधुनिकीकरण के प्रकरणों में भू-उपयोग परिवर्तन (औद्योगिक प्रयोजन होने पर) अधिकतम 50 एकड़ भूमि तक के लिए भू-पुर्ननिर्धारण कर (डायवर्सन शुल्क) में 50 प्रतिशत छूट दी जाएगी।
जल शुल्क व्यय प्रतिपूर्ति राज्य में कोर (स्टील) सेक्टर के नवीन उद्योग तथा मौजूदा उद्योगों के विस्तार / शवलीकरण / प्रतिस्थापन के मामलों में मूल क्षमता से अतिरिक्त विस्तारित क्षमता में उपभोग होने वाली औसत खपत के आधार पर निम्नलिखित विवरण अनुसार जल व्यय प्रतिपूर्ति दी जाएगी :-
क्र. विकासखण्डों की श्रेणी विवरण
समूह-1 (विकाराखण्ड बिल्हा एवं धरसीवा को छोड़कर) वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष ।
समूह-2 वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष ।
समूह-3 वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 15 वर्ष ।
रॉयल्टी प्रतिपूर्ति राज्य के बस्तर एवं सरगुजा संभाग में कोर (स्टील) सेक्टर के नवीन उद्योग तथा मौजूदा उद्योगों के विस्तार / शवलीकरण / प्रतिस्थापन / आधुनिकीकरण के मामलों में मूल क्षमता से अतिरिक्त विस्तारित क्षमता में उपभोग होने वाली औसत खपत के आधार पर को ऑयरन ओर के लिए राज्य सरकार को भुगतान की गई रॉयल्टी की 50 प्रतिशत एवं कोल पर रॉयल्टी एवं राज्य को प्राप्त होने वाले सेस की 100 प्रतिशत प्रतिपूर्ति निम्नलिखित विवरण अनुसार की जाएगी :-
क्र. विकासखण्डों की श्रेणी विवरण
समूह-1 (विकासखंड बिल्हा एवं धरसींवा को छोड़कर) वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष
समूह-2 वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 10 वर्ष
समूह-3 वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 15 वर्ष
CG Industrial Policy 2024-30: दिव्यांग (निःशक्त), सेवानिवृत्त अग्निवीर व आत्मसमर्पित नक्सली व्यक्ति रोजगार अनुदान
कोर (स्टील) सेक्टर के नवीन उद्योग तथा मौजूदा उद्योगों के विस्तार / शवलीकरण / प्रतिस्थापन को भारत सरकार के दिव्यांग (निःशक्त), (समान अवसर का अधिकार, संरक्षण और पूर्ण भागीदारी) अधिनियम 1995 के तहत् निःशक्तों एवं राज्य के सेवानिवृत्त अग्निवीर व आत्मसमर्पित नक्सली व्यक्ति को स्थायी नौकरी प्रदान करने पर, उनके शुद्ध वेतन / पारिश्रमिक की 40 प्रतिशत अनुदान की राशि की अनुदान प्रतिपूर्ति, 5 वर्ष की अवधि तक अधिकतम रुपये पांच लाख वार्षिक की सीमा तक की जाएगी।
कोर (स्टील) सेक्टर के नवीन उद्योग तथा मौजूदा उद्योगों के विस्तार / शवलीकरण / प्रतिस्थापन के प्रकरणों में छत्तीसगढ़ राज्य के कुशल एवं अर्धकुशल कर्मचारियों के ईपीएफ अंशदान में उत्पादन दिनांक से 05 वर्ष तक की 50 प्रतिशत का प्रतिपूर्ति, अधिकतम रु. 01 करोड़ प्रतिवर्ष की पात्रता होगी।
नवीन पात्र उद्योग की स्थापना के प्रकरणों में रुपये50,000/- प्रतिमाह से कम वेतन प्राप्त करने वाले छत्तीसगढ़ राज्य के प्रत्येक मूल निवासी कुशल एवं अर्धकुशल कर्मचारियों के मामले में एक बार प्रशिक्षण पर उनके नियोक्ता द्वारा भुगतान किए जाने वाले एक माह का वेतन या अधिकतम राशि रुपये15000/- प्रति व्यक्ति, जो कम हो, की दर से उद्योग के व्यावसायिक उत्पादन / गतिविधि आरंभ करने की दिनांक से 05 वर्ष की अवधि के लिए अथवा स्थायी पूंजी निवेश के 100 प्रतिशत तक की सीमा तक व्यय प्रतिपूर्ति की जा सकेगी। इस के लिए प्रथम क्लेम कर्मचारी के नियोजन के एक वर्ष बाद से देय होगा ।
रुपये1000 करोड़ से अधिक निवेश करने वाली इकाइयों के लिए विशेष औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन का प्रावधान :-
औद्योगिक नीति, 2024-30 की अवधि में सामान्य एवं भ्रस्ट सेक्टर के वृहद उद्योगों में स्थायी पूंजी निवेश में रुपये1,000 करोड़ या इससे अधिक निवेश करने वाली अथवा 1,000 व्यक्तियों को रोजगार प्रदान करने वाले उद्योगों को औद्योगिक नीति, 2024-30 में घोषित आर्थिक निवेश प्रोत्साहन के अतिरिक्त प्रोत्साहन दिये जाने के प्रस्तावों पर मंत्रिमंडलीय उप समिति विचार कर सकेगी।