Cabinet Expansion रायपुर। छत्तीसगढ़ की विष्णुदेव साय सरकार की कैबिनेट में मंत्रियों के दो पद खाली हैं, हालांकि अब हरियाणा की तर्ज पर यहां भी तीन नए मंत्रियों को शामिल करने की तैयारी है, लेकिन कैबिनेट के विस्तार में बड़ा पेंच फंस गया है। बताया जा रहा है कि एक नाम को लेकर सहमति नहीं बन पा रही है। इसी वजह से नए मंत्रियों का शपथ ग्रहण टल गया है।
सूत्रों के अनुसार इस बार विष्णुदेव कैबिनेट का विस्तार लगभग तय था। अंदर- अंदर इसकी तैयारी भी शुरू हो गई थी। सब कुछ फाइनल था, केवल अंतिम सहमति बननी थी। इसके लिए सत्ता और संगठन की बुधवार (9 अप्रैल) को कुशाभाऊ ठाकरे परिसर स्थित प्रदेश भाजपा मुख्यालय में बैठक रखी गई। इसमें शामिल होने राष्ट्रीय सह संगठन महामंत्री शिव प्रकाश रायपुर आए। प्रदेश प्रभारी नीतिन नबीन भी रायपुर पहुंच गए थे।
पार्टी नेताओं के अनुसार तय कार्यक्रम के अनुसार दोपहर में बंद कमरे में बैठक हुई। इस बैठक में शिव प्रकश और नबीन के साथ मुख्यमंत्री साय, दोनों उप मुख्यमंत्री अरुण साव और विजय शर्मा मौजूद थे। इसमें प्रदेश अध्यक्ष किरण सिंहदेव के साथ प्रदेश संगठन के नेता भी शामिल थे। यह बैठक करीब दो घंटे से ज्यादा चली। पार्टी सूत्रों के अनुसार इस दौरान कैबिनेट में तीन नए मंत्रियों को शामिल करने के साथ ही मौजूदा कुछ मंत्रियों के विभाग में बदलाव करने पर सहमति बनी, लेकिन नए मंत्रियों के नाम की सूची पर सहमति नहीं बन पाई। पार्टी सूत्रों के अनुसार मंत्री पद के लिए प्रस्तावित एक नाम को लेकर गतिरोध के बाद कैबिनेट का विस्तार टाल दिया गया।
विष्णुदेव कैबिनेट का विस्तार टाले जाने को लेकर दो तरह की चर्चा है। इसमें कहा जा रहा है कि एक पूर्व मंत्री को फिर से मंत्री बनाए जाने पर प्रदेश की तरफ से आपित्त की गई है, जबकि उनका नाम दिल्ली से आया था।
वहीं, दूसरी चर्चा यह है कि नए विधायकों को मंत्री बनाए जाने पर सहमति नहीं बन पाई है। चर्चा है कि केबिनेट के विस्तार में केवल पुराने लोगों को ही शामिल करने की बात हुई, जबकि सूची में पहली बार के विधायक का भी नाम शामिल था। इसे देखते हुए कैबिनेट के विस्तार को टाल दिया गया।
कैबिनेट का विस्तार टलने से संसदीय सचिवों की भी सूची लटक गई है। प्रदेश सरकार में 16 विधायकों को संसदीय सचिव बनाए जाने की चर्चा है। इनमें ज्यादातर पहली बार के विधायक शामिल हैं।