KSK Mahanadi Power: रायपुर। छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा स्थित केएसके महानदी पावर बिक गया है। इस प्लांट को खरीदने के लिए अडानी ग्रुप लगातार प्रयास कर रहा था, लेकिन सौदा उसकी हाथ से फिसल गया है। एक दूसरे ग्रुप ने केएसके पावर के लिए बड़ी बोली लगा दी।
केएसके महानदी पावर की नीलामी के लिए दो दिनों तक चली बोली में जेएसडब्ल्यू एनर्जी ने सबसे बड़ी बोली लगाई है। सज्जन जिंदल प्रमोटेड जेएसडब्ल्यू एनर्जी ने 15 हजार 985 करोड़ रुपये की बोली लगाई है।
अडानी ने एक दिन पहले 15 हजार 885 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी। अडानी ने यह बोली नीलामी के 10वें राउंड में लगाई थी। इसके साथ ही उम्मीद की जा रही थी की केएसके को अडानी ग्रुप टेक ओवर कर लेगा, लेकिन 11वें राउंड में जेएसडब्ल्यू ने बोली 100 करोड़ बढ़ाकर केएसके महानदी पावर को खरीद लिया है।
केएसके महानदी पावर की बोली की प्रक्रिया में जेएसडब्ल्यू और अडानी के अलावा एनटीपीसी, जिंदल, वेदांता और कापरी ग्लोबल भी शामिल थे। कापरी ग्लोबल 10वें राउंड तक दौड़ में शामिल रहा। इस कंपनी ने 10वें राउंड में 15 हजार 850 करोड़ की बोली लगाई थी। वहीं, एनटीपीसी और जिंदल सहित अन्य ग्रुप 9वें राउंड के बाद ही बाहर हो गईं थी।
केएसके पावर महानदी के कर्जदाताओं ने 29 हजार 330 करोड़ का दावा किया है। इस सौदे से कर्जदाताओं को 26 हजार 485 करोड़ रुपये की रिकवरी तुरंत होने की उम्मीद है। यह करीब 90 प्रतिशत है। इसमें जेएसडब्ल्यू की पेशकश और 10 हजार 500 करोड़ रुपये की नगद और अन्य देनदारियां शामिल हैं। यह करीब 26 प्रतिशत इक्विटी स्टेक में जोड़ा जाएगा। इस तरह रिकवरी 100 प्रतिशत से अधिक होने की उम्मीद है।
जेएसडब्ल्यू एनर्जी केएसके महानदी पावर के रुप में तीसरी बड़े पावर प्लांट को अधिग्रहित करने जा रही है। इससे पहले जेएसडब्ल्यू ने दिसंबर 2022 में इंड बर्थ एनर्जी (उत्कल) को 1048 करोड़ में खरीदा था। इस प्लांट की उत्पादन क्षमता 700 मेगावाट है। इसके बाद मार्च 2023 में Mytrah Energy 1553 मेगावाट उत्पादन क्षमता वाले प्लांट का 10 हजार 150 करोड़ रुपये में अधिग्रहण किया था।
केएसके महानदी पावर पर अडानी ग्रुप की नजर 2018 से थी, जिस तरह से अडानी ग्रुप केएसके महानदी के सौदे में शामिल था उम्मीद की जा रही थी कि अडानी ग्रुप ही इसे अधिग्रहित करेगा, लेकिन अब यह सौदा उसके हाथ से निकल गया है। अडानी ग्रुप की तरफ से 2018 में केएसके के लिए 10 हजार 300 करोउ़ रुपये का प्रस्ताव दिया गया था, लेकिन 2019 में उसने प्रस्ताव वापस ले लिया। अडानी ग्रुप अवनाथ पावर की कोरबा वेस्ट, कोस्टल एनर्जी और लैंकों अमरकंटक को अधिग्रहित कर चुका है।
केएसके महानदी पावर की मौजूदा उत्पादन क्षमता 1800 मेगावाट है। कंपनी पर बैंकों का 32 हजार करोड़ रुपये बकाया है। इस कंपनी को 2019 में आईबीसी की प्रक्रिया में लाया गया। इस बीच इसकी बोली की प्रक्रिया पर स्टे भी लगा था।
केएसके महानदी पावर छत्तीसगढ़ के जांजगीर- चांपा में स्थापित है। यह अल्ट्रा मेगा पावर प्रोजेक्ट है, जिसकी प्रस्तावित उत्पादन क्षमता 3600 मेगावाट है। अभी कंपनी में 600-600 मेगावाट की तीन यूनिट चल रही हैं। जो 2013, 2014 और 2018 में शुरू हुई हैं। बाकी तीन यूनिटों का काम अभी शुरू नहीं हो पाया है।
प्लांट ने कोयला आपूर्ति के लिए गुजरात मिनरल और गोवा इंडस्ट्रिलय डेवलपमेंट के साथ समझौता किया था। इन दोनों राज्यों को छत्तीसगढ़ दो कोल ब्लॉक आवंटित हुआ था, लेकिन 2014 में कोयला घोटाला सामने आने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने आवंटन रद्द कर दिया। पावर सेक्टर के जानकारों केअनुसार केएसके पावर कोयला संकट और क्षेत्रीय विरोध की वजह से डूब गई।